डॉक्टरों की कमी से जूझ रहा कर्णप्रयाग का उपजिला अस्पताल
कर्णप्रयाग; उत्तराखंड सरकार भले ही स्वास्थ्य सुविधाओं को लेकर बड़ी बड़ी बातें कर रही है लेकिन कर्णप्रयाग का उपजिला अस्पताल डॉक्टरों की कमी से जूझ रहा है । अस्पताल में डॉक्टरों के विभिन्न पदों पर रिक्तियां होने के वावजूद दो विशेषज्ञ डॉक्टरों के तबादले की खबर सुनते ही स्थानीय लोग ने प्रदेश सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की ।
उत्तराखंड का चमोली जिले के मध्य में बसा कर्णप्रयाग नगर चारधाम यात्रा का मुख्य केंद्र है । यहां पर क्षेत्रीय जनता की सुविधा के लिए बना उपजिला अस्पताल बिन डॉक्टरों के खुद बीमार चल रहा है । अस्पताल में लंबे समय से डॉक्टरों की कमी है जिससे दूर दराज क्षेत्रो से कर्णप्रयाग अस्पताल में इलाज कराने वाले लोगो को रेफर करना पड़ता है । कई बार इसके लिए धरने प्रदर्शन भी किये गए लेकिन बार सिर्फ आश्वासन तक ही सिमट कर रह गयी । कर्णप्रयाग अस्पताल के वरिष्ठ सर्जन डाक्टर राजीव शर्मा और दन्त रोग विशेषज्ञ के तबादले का फरमान आ जाने से स्थानीय जनता में सरकार के खिलाप आक्रोश पैदा हो गया वही समाजसेवी कैलाश खण्डूरी ने कहा कि यदि दोनों विशेषज्ञ डॉक्टरों का तबादला नही रोका गया तो सरकार को इसका खामियाजा आगमी चुनाव में भुगतना पड़ेगा ।
प्रदेश में विधानसभा चुनाव करीब है । सरकार विभिन्न मंचो से कह रही है कि अब हर अस्पताल में डॉक्टर आ चुके है । लेकिन कर्णप्रयाग का उपजिला असप्ताल रेफर सेन्टर बना हुआ है । जनता की मांग जायज है । कोरोना की तीसरी लहर करीब आ चुकी ऐसे में अगर अस्पताल में डॉक्टर ही नही रहेंगे तो आखिर जनता का इलाज करेगा कौन?
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